जानिए किसने सबसे पहले बसंत पंचमी पर MAA SARASWATI की थी पूजा और क्यों?

By RAHUL SINGH On February 8th, 2022
MAA SARASWATI

Basant Panchami 2022: हिन्दूधर्म के लोग माघ शुक्ल की पंचमी को बसंत पंचमी(basant Panchami) के रूप मनाते हैं. इस दिन बुद्धि-विद्या स्वरों की देवी मां सरस्वती(maa saraswati) का जन्म हुआ था. बसंत पंचमी को हम बागेश्वरी जयंती के रूप में भी मनाते हैं. ऐसा इसलिए क्योंकि इस दिन मां सरस्वती प्रकट हुई थीं. ऐसे में चलिए जानते हैं MAA SARASWATI की पूजा उनके प्रकट होने के बाद सबसे पहले किसने की थी और क्यों?

श्रीकृष्ण ने की थी सबसे पहले MAA SARASWATI पूजा

पौराणिक कथा के मुताबिक सृष्टि रचयिता, बह्मा जी के आह्वान पर मां सरस्वती का जन्म हुआ था.   मां सरस्वती जब प्रकट हुई तो उन्होंने सबसे पहले भगवान श्रीकृष्ण(god srikrishna) को देखा था. वह उन्हें देखने बाद उन पर मोहित हो गई. क्योंकि वह उन्हें पति के रूप में पाना चाहती थीं.लेकिन भगवान श्रीकृष्ण अन्तर्यामी थी. उन्होंने माता सरस्वती के मन को पढ़ लिया और उन्हें उन की इच्छा का पता चल गया.

जिसके बाद उन्होंने MAA SARASWATI से कहा ​कि वह राधा के प्रति ही समर्पित हैं. कृष्ण के साथ राधा का ही नाम जुड़ा है. कहा जाता है कि राधा माता लक्ष्मी का ही रूप थीं. ऐसे में माता लक्ष्मी और भगवान विष्णु एक दूसरे के पूरक हैं, फिर मां सरस्वती की भगवान श्रीकृष्ण को पति स्वरूप में पाने की ये इच्छा कैसे पूरी होती.

वहीं ये भी कहा जाता है अगर MAA SARASWATI को ये बात चलती तो वह काफी नाराज होती. और सब कुछ तहस-नहस कर देती. जिसकी वजह से भगवान श्रीकृष्ण और ब्रह्मा जी ने ही सबसे पहले मां सरस्वती की पूजा की थी. जिससे उन्हें प्रसन्न किया जा सके. भगवन श्रीकृष्ण और ब्रह्मा जी ने बड़े जतिन से माता सरस्वती की खूब मन और प्रेमपूर्वक पूजा की थी. जिसकी वजह से देव मां प्रसन्न हो गईं. इसके साथ भगवान श्रीकृष्ण ने उन्हें वरदान भी दिया था.

उन्होंने कहा जो भी व्यक्ति माघ माह के शुक्ल पक्ष की पंचमी को सरस्वती पूजा करेगा, उसे ज्ञान प्राप्ति में सफलता प्राप्त होगी. भगवान श्रीकृष्ण के वरदान की वजह से बसंत पंचमी के दिन MAA SARASWATI की पूजा की जाती है. इस शुभ से सभी लोग अपने नए कार्यों की शुरुआत भी करते हैं.

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